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Monday, April 21, 2025

भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान में सब्जियों पर शोध में निजी क्षेत्र के कंपनियों की भागीदारी पर चर्चा

 

रिपोर्ट -त्रिपुरारी यादव 

वाराणसी आराजी लाइन विकासखंड क्षेत्र के शाहंशाहपुर स्थित भारतीय सब्जी अनुसंधान संस्थान के नवनियुक्त निदेशक की सकारात्मक पहल पर अब संस्थान के शोध संबन्धित विषयों पर निजी क्षेत्र की भागीदारी बढ़ाने के लिए फ़ाउंडेशन फॉर एडवांस्ड ट्रेनिंग इन प्लांट ब्रीडिंग की मुख्य कार्यकारी अधिकारी डॉ अपर्णा तिवारी ने संस्थान के निदेशक एवं वैज्ञानिकों से मुलाक़ात कर चर्चा की। चर्चा के दौरान संस्थान के पब्लिक प्राइवेट पार्टनर्शिप मॉडल और इसके अंतर्गत निजी क्षेत्र की कंपनियों को संस्थान द्वारा विकसित उन्नत प्रजातियों और हाइब्रिड बीज एवं अन्य तकनीकों के किसानों और उपभोगताओं तक पहुंचाने के लिए दिये जाने वाले लाइसेन्स की  प्रक्रिया की जानकारी एवं नई संभावनाओं पर जानकारी का आदान प्रदान हुआ। इस दौरान संस्थान के तत्वावधान में चल रहे भिण्डी कॉन्सोर्शियम शोध  को अधिक कारगर बनाने पर सहमति भी बनी। ज्ञात हो कि विगत वर्षों मे संस्थान द्वारा चलाये जा रहे  भिण्डी कॉन्सोर्शियम शोध के प्रारम्भिक परिणाम बहुत ही उत्साह वर्धक होने के कारण इस कॉन्सोर्शियम के दायरे मे कई छोटी कंपनियों को भी शामिल करने पर विचार किया जा रहा है। साथ ही इसी तर्ज पर टमाटर,बैगन और मिर्च के कॉन्सोर्शियम शोध के कार्यक्रम बनाए जाने पर सहमति भी हुई है। भविष्य में ऐसे कॉन्सोर्शियम के शोध एवं परीक्षण के लिए निजी क्षेत्र द्वारा वित्तीय पोशान्ता पर विचार किया गया। संस्थान के निदेशक डॉ राजेश कुमार द्वारा आश्वासन दिया गया कि निजी क्षेत्र द्वारा वित्त पोषित शोध से विकसित तकनीकों के लाइसेन्स के लिए वित्तीय सहयता प्रदान करने वाली कंपनियों को प्राथमिकता दी जाएगी। डॉ अपर्णा तिवारी ने सब्जियों के विभिन्न शोध विषयों पर संस्थान के साथ मिलकर कई सेमिनार और कोन्फ्रेंस आयोजित करने कि फाउंडेशन कि इक्षा भी व्यक्त कि है, जिस पर आगे चर्चा कर रूपरेखा तैयार की जाएगी। इस चर्चा में डॉ सुदर्शन मौर्य, डॉ शैलेश कुमार तिवारी एवं डॉ प्रदीप कर्मकार उपस्थित रहे।



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